मंगलवार, 27 अप्रैल 2021

मोदी की वैक्सीन डिप्लोमैसी, दुनिया खड़ा हुए भारत के साथ, बाइडेन ने मोदी से बात अमेरिका करेगा पूरी मदद



भारत में कोरोना से बिगड़ते स्थिति पर विश्व की महाशक्तियां भारत के सहायता के साथ  खड़ी हो गई हैं। ब्रिटेन के प्रधानमंत्री बोरिस जॉनसन ने कहा है कि वे देख रहे हैं कि भारत की मदद कैसे की जा सकती है। जॉनसन ने कहा कि कोरोना महामारी की नया फेज बहुत घातक है। इसका हेल्थ सर्विसेज पर भी असर पड़ा हैब्रिटेन  हार संभव  मदद करेगा। जर्मनी की चांसलर एंजेला मर्केल ने रविवार को कहा कि उनकी सरकार भारत के लिए तत्काल ''सहायता मिशन'' की तैयारी कर ही है । कोविड महामारी के बढ़ते प्रकोप के बीच कई राज्यों में मेडिकल ऑक्सीजन की कमी का सामना करना पड़ रहा है। इस लड़ाई में जर्मनी पूरी एकजुटता से भारत के साथ खड़ा है। जर्मन के प्रधानमंत्री ने भी पूरी दुनिया से मदद आने लगा है। जापान के प्रधानमंत्री योशिहिदो सुगा ने भी मोदी से फोन पर चर्चा की। ऑस्ट्रेलिया कोविड-19 के मामलों में जूझ रहे भारत को तत्काल सहायता के रूप में ऑक्सीजनवेंटिलेटर और व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण (पीपीई) भेजेगा। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और अमेरिकी राष्ट्रपति जो बाइडेन के बीच सोमवार को फोन पर बातचीत हुई। बाइडेन ने मोदी से कहा- जब अमेरिका कोविड-19 की वजह से मुश्किल दौर से गुजर रहा थातब भारत ने उसकी भरपूर मदद की थी। अब अमेरिका की बारी है।

जब भारत में वैक्सीन का प्रोड्क्शन शुरू हुआ था। तो भारत के प्रधानमंत्री मोदी जी बहुत सारे देशो को वैक्सीन भेजा था। वह वैक्सीन उन देशों की एक आशा की किरण मिली की उनके देश में भी लोगों को कोविद19 के बचाव के लिए वैक्सीन मिल सकता है। भारत ने इस कठिन समय में दुनिया के 80 देशों को लगभग 6 करोड़ वैक्सीन के डोज को मुफ्त में भेजा है। इसी समय भारत में फ्रंटलाईन वैरीयर में कार्य कर रहे व्यक्तियों को ही वैक्सीन लगाया जा रहा था। इसी समय भारत के विपक्षी पार्टिया देश में हल्ला कर रही थी कि मोदी भारतीयों लोगों को वैक्सीन न लगाकर दुनिया में अपने नाम का वाह वाह करने के लिए मुफ्त में दे रही है। लेकिन इससें दूर मोदी ने तो दुनिया के बड़े बड़े दवाई कंपनियों के कोरोना वैक्सीन से कमाई के मंसूबों पर पानी फेर दिया। वही भारतीय संस्कृति की मूल भाव सर्वो भवन्तु सुखिनः का सन्देश भी विश्व को दे दिया। जब भी भारत पर संकट आएगा तो विश्व भारत की सहायता के लिए आगे आयेगे। 

भारत में अचानक से कोविद19 के रोगियों की संख्या बढ़ गई है। इस मुश्किल समय में भारत को सभी मित्र देशों का पूरा सहयोग मिल शुरू हो गया है। ब्रिटेन से लाइफ सेविंग हेल्प पैकेज की पहली खेप मंगलवार सुबह दिल्ली पहुंच गई है। इसमें 100 वेंटिलेटर और 95 ऑक्सीजन कंसट्रेटर हैं। मदद की दूसरी खेप भी जल्द आएगी जिसमें एयरलाइन कंटेनर लोड शामिल होंगे। इसमें 495 ऑक्सीजन कंसट्रेटर, 120 नॉन-इंवेजिव वेंटिलेटर और 20 मैनुअल वेंटिलेटर आदि शामिल हैं। भारत में फ्रांस के राजदूत इमैनुअल लेनिन ने ट्वीट कर कहा कि अगले कुछ दिनों में भारत को  8 उच्च क्षमता ऑक्सीजन जनरेटरप्रत्येक 250 बेड के लिए साल भर ऑक्सीजन, 5 दिनों के लिए 2, 000 रोगियों को लिक्विड ऑक्सीजनआईसीयू के लिए 28 वेंटिलेटर और उपकरण भेजेगा।       

सिंगापुर से चार क्रायोजेनिक टैंकरों का  भारत आ चूका है। अभी सरकार 20 क्रायोजेनिक और थाईलैंड से मंगा रही है। यूरोपीय संघ ने भारत को तत्काल सहायता मुहैया कराने के लिए सिविल प्रोटेक्शन मेकनिज्म को सक्रिय कर दिया है। यूरोप संघ के अध्यक्ष उर्सुला बोन दली ने कहा है कि यूरोपीय संघ अपने संसाधन को जुटाने जुटा रहा है, ताकि भारत तक फौरन मदद पहुंचाई जा सके। संयुक्त राज्य अमीरात में इस समय प्रसिद्ध ऐतिहासिक स्थलों को कोविड-19 के खिलाफ भारत की जंग में देश के साथ एकजुटता प्रदर्शित करने के लिए तिरंगे रंग से रोशन किया। दुबई में आबूधाबी नेशनल ऑयल कंपनी के मुख्यालय एवं दुनिया के सबसे ऊंचा इमारत बुर्ज खलीफा को भारतीय ध्वज से रंग के रोशन किया। ऑस्ट्रेलिया ने भारत को तत्काल सहायता के रूप में ऑक्सीजन वेंटिलेटर व्यक्तिगत सुरक्षा उपकरण (PPT KIT) भेजेगा। ऑस्ट्रेलिया के स्वास्थ्य मंत्री ग्रेग हंट ने संघीय सरकार इस बात पर विचार कर रही है कि वह मदद के लिए क्या भेज सकते हैं। हंटर ने कहा कि भारत वास्तव में ऑक्सीजन की समस्या से जूझ रहा है हम ऑक्सीजन चिकित्सा भंडार से मदद कर सकते हैं। जर्मनी ने तत्काल में 23 ऑक्सीजन जनरेशन प्लांट  हवाई मार्ग से लाने का फैसला हो चुका है। इनमें से हर प्लांट प्रति मिनट 40 लीटर और प्रति घंटा 2400 लीटर आक्सीजन उत्पादन कर सकता है।

अमेरिका ने भी भारत को आश्वस्त किया कि कोरोना के टीका के लिए उत्पाद जरूरी खास कक्षा संभल को तत्काल पहुंचाएगी। नागरिक उड्डयन मंत्री हरदीप सिंह पुरी ने कहा है कि एयर इंडिया ने सोमवार को अपनी न्यूयार्क से दिल्ली में 318  ऑक्सीजन सिलेंडर राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली पहुंचाई। अमेरिका के कैलिफोर्निया की ओर से भेजी जाने वाली मदद में 275 ऑक्सीजन संक्रेन्द्रक , 440 ऑक्सीजन सिलेंडर, 240 ऑक्सीजन रेगुलेटर, 210 पल्स ऑक्सीमीटर और एक डेप्लॉयबल ऑक्सीजन कंसेंट्रेटर सिस्टम (COCS) शामिल हैजो प्रति मिनट 120 लीटर ऑक्सीजन पैदा करने की क्षमता रखता है इसका इस्तेमाल आम तौर पर बड़े सिलेंडर भरने के लिये होता है

 

कोई टिप्पणी नहीं:

एक टिप्पणी भेजें